Joindia
क्राइमनवीमुंबईसिटी

Airoli PG hostel suicide case: नवी मुंबई में पीजी हॉस्टल में रह रही 22 वर्षीय युवती की आत्महत्या: सुरक्षा व्यवस्थाओं पर उठे गंभीर सवाल

IMG 20250616 WA0025
Advertisement

जो इंडिया / नवी मुंबई, ऐरोली – नवी मुंबई के ऐरोली सेक्टर 1 स्थित एक पेइंग गेस्ट हॉस्टल (A paying guest hostel in Sector 1, Airoli, Navi Mumbai

Advertisement
) में 22 वर्षीय युवती द्वारा आत्महत्या किए जाने की दर्दनाक घटना सामने आई है। मृतका की पहचान नंदिनी तिवारी के रूप में हुई है, जो उत्तर प्रदेश के कानपुर की रहने वाली थीं और नवी मुंबई के विप्रो आईटी पार्क में एक निजी आईटी कंपनी में कार्यरत थीं।

कमरे में अकेली थी नंदिनी, दरवाजा न खुलने पर टूटा सन्नाटा

पुलिस के अनुसार, घटना सोमवार दोपहर की है। नंदिनी जिस पीजी हॉस्टल में रह रही थीं, वहाँ छुट्टी के कारण अन्य रूममेट्स अपने घर चली गई थीं और वह अकेली थीं। जब दोपहर 12 बजे तक कमरे का दरवाजा नहीं खुला, तो स्थानीय लोगों ने पुलिस को सूचना दी। रबाले पुलिस ने मौके पर पहुंचकर जब दरवाजा तोड़ा, तो युवती का शव पंखे से लटका मिला।

मौके से मिला सुसाइड नोट, आर्थिक और मानसिक तनाव का उल्लेख

पुलिस को कमरे से एक सुसाइड नोट बरामद हुआ है, जिसमें नंदिनी ने आर्थिक तंगी और मानसिक तनाव का जिक्र किया है। फिलहाल पुलिस ने आकस्मिक मृत्यु का मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। हालांकि परिवार इस आत्महत्या को संदेहास्पद मान रहा है और अनहोनी की आशंका जता रहा है।

सीसीटीवी कैमरों का नहीं मिला कोई सुराग, पीजी हॉस्टल की सुरक्षा व्यवस्था सवालों के घेरे में

मृतका के भाई मयंक तिवारी ने सुरक्षा व्यवस्था पर गंभीर सवाल उठाते हुए कहा कि जब उनकी बहन इस हॉस्टल में शिफ्ट हुई थी, तब बताया गया था कि परिसर में सीसीटीवी कैमरे लगे हैं। लेकिन मौके पर कोई कैमरा नहीं मिला। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि सोसायटी के कैमरे भी बंद पड़े थे।

हॉस्टल मैनेजर राहुल मिश्रा ने स्वीकार किया कि हॉस्टल में किसी भी प्रकार की सीसीटीवी निगरानी व्यवस्था नहीं है, और न ही किसी आगंतुक के आने-जाने का कोई रिकॉर्ड रखा जाता है।

शहर के पीजी हॉस्टलों की जांच की मांग तेज

इस घटना के बाद नवी मुंबई सहित कई शहरों में चल रहे पीजी हॉस्टलों की सुरक्षा व्यवस्था पर सवाल खड़े हो गए हैं। सामाजिक कार्यकर्ता मधु शंकर ने नवी मुंबई मनपा और पुलिस प्रशासन से मांग की है कि सभी हॉस्टलों की जांच कर यह सुनिश्चित किया जाए कि वे सुरक्षा मानकों और नियमों का पालन कर रहे हैं या नहीं।

> “युवतियों की सुरक्षा के लिए पीजी हॉस्टलों में कैमरे, विज़िटर लॉगबुक और इमरजेंसी अलार्म सिस्टम जैसी व्यवस्थाएं अनिवार्य की जानी चाहिए,” – मधु शंकर, सामाजिक कार्यकर्ता

 

 

Advertisement

Related posts

“मनपा का नया मोबाइल पंप प्लान: खर्च बढ़ा, भरोसा घटा!”

Deepak dubey

ट्रेनिंग देने के बहाने जिम ट्रेनर ने युवती से दुष्कर्म

Deepak dubey

Orchid International School Seawood: एक हजार फीस के लिए पांच वर्षीय बच्चे को को निजी स्कूल ने बनाया बंधक, पिता ने दर्ज कराई शिकायत

Deepak dubey

Leave a Comment