जो इंडिया / मुंबई: बॉलीवुड अभिनेत्री तनुश्री दत्ता (Bollywood actress tanushree dutta
सदावर्ते ने मांग की कि तीनों खानों को इस मुद्दे पर आगे आना चाहिए और महिला उत्पीड़न के मामलों पर चुप्पी नहीं साधनी चाहिए। उन्होंने यह भी कहा कि सुशांत सिंह राजपूत जैसी त्रासदी दोबारा न हो, इसके लिए बॉलीवुड को ज़िम्मेदारी से काम करना चाहिए।
वहीं, राज्य में चल रहे हिंदी बनाम मराठी विवाद पर भी सदावर्ते ने खुलकर प्रतिक्रिया दी। उन्होंने राज्यपाल सी.पी. राधाकृष्णन के उस बयान का समर्थन किया जिसमें उन्होंने सवाल किया था — “अगर मुझे कोई मार दे, तो क्या मैं तुरंत मराठी बोल पाऊंगा?” इस बयान पर आदित्य ठाकरे और मनसे नेता बाला नांदगांवकर की प्रतिक्रिया आई थी, लेकिन अब सदावर्ते ने आदित्य पर पलटवार करते हुए कहा कि उन्हें पहले संविधान की कक्षा में बैठना चाहिए।
सदावर्ते का यह बयान — “कोई कलाकार सीनियर नहीं होता, और किसी को बॉस बनकर खुद को सीनियर साबित नहीं करना चाहिए” — नाना पाटेकर पर सीधा कटाक्ष माना जा रहा है। उन्होंने यह भी कहा कि नाना पाटेकर और अन्य कलाकारों को सीमाओं में रहना चाहिए।
तनुश्री दत्ता ने भी कहा है कि उन्हें मानसिक प्रताड़ना झेलनी पड़ी, और जो प्रोजेक्ट उन्होंने साइन किया था, उसे उनसे छीन लिया गया। उन्होंने नाना पाटेकर को इसके लिए ज़िम्मेदार ठहराया है।