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Maharashtra government decision on school safety:राज्य सरकार को हाईकोर्ट का निर्देश: स्कूलों में जाकर बच्चों की सुरक्षा जांचें! बदलापुर यौन उत्पीड़न केस के बाद सख्त रुख

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जो इंडिया / मुंबई। राज्य के स्कूलों (State schools) में बच्चों की सुरक्षा को लेकर बॉम्बे हाईकोर्ट (Bombay high court

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) ने सख्त रुख अपनाया है। बदलापुर (Badlapur) में हुई यौन उत्पीड़न की घटना को गंभीरता से लेते हुए हाईकोर्ट ने राज्य सरकार को निर्देश दिया है कि वह यह सुनिश्चित करे कि स्कूलों में बच्चों की सुरक्षा से जुड़े सरकारी आदेशों का पालन हो रहा है या नहीं। इसके लिए अधिकारियों की नियुक्ति कर स्कूलों का निरीक्षण अनिवार्य किया गया है।

हाईकोर्ट की न्यायमूर्ति रेवती मोहिते-डेरे और न्यायमूर्ति नीला गोखले की पीठ (A bench of Justice Revati Mohite-Dere and Justice Neela Gokhale of the High Court) ने मंगलवार को इस मामले की सुनवाई करते हुए यह आदेश जारी किया। अदालत ने स्पष्ट किया कि राज्य सरकार द्वारा बच्चों की सुरक्षा के लिए लिए गए निर्णयों को धरातल पर लागू किया जा रहा है या नहीं, इसकी जिम्मेदारी तय होनी चाहिए।

बदलापुर की घटना के बाद सरकार ने दो सेवानिवृत्त न्यायाधीशों की अध्यक्षता में एक विशेष समिति गठित की थी, जिसने स्कूली बच्चों की सुरक्षा को लेकर कई सिफारिशें दीं। इन्हीं सिफारिशों के आधार पर सरकार ने अप्रैल के अंत में एक सरकारी मसौदा तैयार किया और कोर्ट को सौंपा।

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High Court school safety inspection order,

हाईकोर्ट ने निर्देश दिया कि शैक्षणिक सत्र शुरू होने से पहले सभी स्कूलों में सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएं और बच्चों की सुरक्षा के अन्य उपाय लागू हों। इसके क्रियान्वयन के लिए दो महीने की समय-सीमा भी दी गई थी।

कोर्ट ने यह भी आदेश दिया कि राज्य सरकार सभी स्कूलों से रिपोर्ट एकत्र कर एक विस्तृत अनुपालन सूची बनाए और कोर्ट को प्रस्तुत करे। इसके अलावा, शिक्षा विभाग की वेबसाइट पर अब तक यह सरकारी आदेश अपलोड नहीं किए जाने पर भी कोर्ट ने नाराज़गी जताई। कोर्ट ने आदेश दिया कि यह निर्णय तत्काल वेबसाइट पर प्रकाशित किया जाए और अभिभावक-शिक्षक संघों (PTA) को भी इसकी जानकारी दी जाए।

इस प्रकरण में कोर्ट द्वारा नियुक्त वकीलों ने भी इस फैसले को सार्वजनिक करने की मांग की थी, जिस पर अदालत ने सरकार को आवश्यक कदम उठाने का निर्देश दिया है।

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