जो इंडिया / मुंबई: नकली नोट छापकर उन्हें बाजार में खपाने वाले एक गिरोह के दो सदस्यों को काशीगांव पुलिस (Kashigaon Police
गिरफ्तार किए गए आरोपियों की पहचान सुपरना रामकृष्ण मन्ना (24 वर्ष) और सूर्यदेब गोपीनाथ (20 वर्ष) के रूप में हुई है। दोनों पश्चिम बंगाल के मूल निवासी हैं और वर्तमान में घोड़बंदर गांव के तरे चॉल में एक किराए की खोली में रह रहे थे।
पुलिस जब उनके कमरे में पहुंची तो वहां से ₹500 के कुल 190 नकली नोट, एक कलर ज़ेरॉक्स प्रिंटर, पेपर रिम और अन्य छपाई से संबंधित सामग्री बरामद हुई। प्रारंभिक पूछताछ में पता चला कि आरोपी झूठे निवेश या नकद दोगुना करने का लालच देकर असली नोट लेकर नकली नोट लौटाते थे।
पुलिस का मानना है कि ये दोनों किसी बड़े संगठित गिरोह का हिस्सा हैं, जो देशभर में नकली नोटों के जरिए वित्तीय धोखाधड़ी कर रहा है। दोनों के खिलाफ भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 489-A, 489-B, 489-C और 420 के तहत मामला दर्ज कर लिया गया है। पुलिस अब इस पूरे नेटवर्क की कड़ियाँ जोड़ने में जुटी है।
काशीगांव पुलिस स्टेशन के वरिष्ठ निरीक्षक महेश तोगड़वार के नेतृत्व में यह कार्रवाई की गई और पीएसआई अभिजीत लांडे की टीम ने इस ऑपरेशन को सफलतापूर्वक अंजाम दिया।