जो इंडिया / मुंबई :
टिरजेपेटाइड:
यह दवा न केवल ब्लड शुगर नियंत्रित करती है, बल्कि भूख कम कर तेजी से वजन घटाने में मदद करती है।
डॉक्टरों का मानना है कि यह उन मरीजों के लिए कारगर है, जिन पर अन्य वजन कम करने के उपाय बेअसर रहे हैं।
मरीजों के अनुभव:
बोरिवली के व्यापारी दीप गंगर, जिन्होंने हाल ही में यह दवा शुरू की है, ने बताया कि दो हफ्तों में ही उनका 4 किलो वजन कम हुआ है। वहीं विले पार्ले की एक महिला ने एक्सरसाइज के साथ इस दवा को लेने पर 10 किलो वजन घटाया।
बाजार का आकार और प्रतिस्पर्धा:
फार्मा एनालिटिक्स के अनुसार, भारत में एंटी-ओबेसिटी दवाओं का बाजार बीते 5 वर्षों में चार गुना बढ़ चुका है। टिरजेपेटाइड अब 576 करोड़ के बाजार में प्रवेश कर चुकी है। इसकी कीमत लगभग ₹3500 प्रति सप्ताह है, जो सेमाग्लूटाइड जैसे अन्य विकल्पों की तुलना में सस्ती है।
कैसे करता है काम:
टिरजेपेटाइड जीएलपी-1 और जीआईपी हार्मोन की तरह काम करता है, जो भूख को नियंत्रित करने और इंसुलिन उत्पादन को बढ़ावा देने में मदद करते हैं। एक अध्ययन में यह पाया गया कि टिरजेपेटाइड से औसतन 17.8% वजन घटा, जबकि सेमाग्लूटाइड से 12.4%।
चेतावनी और साइड इफेक्ट्स:
डॉक्टरों ने चेताया है कि यह कोई चमत्कारी दवा नहीं है और इसके साथ जीवनशैली में बदलाव आवश्यक है। कुछ लोगों को मतली, थकान, कब्ज जैसी समस्याएं भी हुईं, और दवा बंद करने पर वजन दोबारा बढ़ने की संभावना रहती है।