जो इंडिया / मुंबई।
यह दृश्य मुंबई के दादर में आयोजित मराठी अस्मिता महासम्मेलन के दौरान सामने आया, जब आयोजकों ने मराठी भाषा और संस्कृति के मुद्दे पर राज्य के तमाम दलों को आमंत्रित किया।
इस कार्यक्रम में दोनों नेताओं ने वर्षों पुरानी राजनीतिक कटुता को किनारे रखते हुए महाराष्ट्र के स्वाभिमान और एकता के लिए मिलकर काम करने का आह्वान किया।
कार्यक्रम में उद्धव ठाकरे ने कहा:
“मराठी समाज में अब और दरार नहीं रहनी चाहिए। महाराष्ट्र के विकास और हमारी अस्मिता के लिए हमें एक होकर लड़ना होगा।”
वहीं राज ठाकरे ने भी नरम तेवर दिखाते हुए कहा:
“जो हुआ सो हुआ, अब मराठी अस्मिता की रक्षा के लिए हमें साथ आना होगा।”
इस मंच पर दोनों नेताओं ने एक-दूसरे से हाथ मिलाया और गले मिलते हुए मराठी जनता से एकजुट रहने की अपील की।
हालांकि, दोनों में औपचारिक राजनीतिक गठबंधन पर कोई घोषणा नहीं हुई, लेकिन इस मुलाकात ने महाराष्ट्र की राजनीति में एक नया अध्याय खोल दिया है।
विशेषज्ञों का मानना है कि आगामी चुनाव में यह समीकरण विरोधी दलों के लिए चिंता का सबब बन सकता है।