जो इंडिया / नवी मुंबई। नवी मुंबई, ठाणे और मुंबई क्षेत्र (Navi Mumbai, Thane and Mumbai region
इस नए मामले के सामने आने के बाद कुल ठगी की रकम 3 करोड़ 20 लाख रुपये से अधिक हो चुकी है। खबर प्रकाशित होने के बाद अब कई और पीड़ित भी सामने आ रहे हैं और पुलिस से शिकायत दर्ज करवा रहे हैं। पुलिस इस मामले को एक बड़े रियल एस्टेट फ्रॉड के तौर पर देख रही है और आरोपी से दोबारा पूछताछ के लिए उसे रिमांड पर लेने की तैयारी कर रही है।
टीवी विज्ञापन से जाल में फंसाया
पुलिस के मुताबिक किसन राठोड़ ने वर्ष 2021 में “सपनों का घर” दिलाने का सपना दिखाकर ठगी की साजिश रची थी। उसने टीवी चैनलों पर एक आकर्षक विज्ञापन चलवाया जिसमें दावा किया गया था:
इस विज्ञापन के झांसे में आकर कई लोग कार्यालय पहुंचे। वहां मौजूद कर्मचारी उन्हें उरण के पास विंधने गांव, चिर्ले जंक्शन जैसे इलाकों में कथित प्लॉट दिखाने ले जाते थे। मौके पर बारिश, कीचड़ और दलदल का बहाना बनाकर उन्हें दूर से जमीन दिखाकर लौटा दिया जाता था।
मीठी-मीठी बातों में फंसा कर ठगी
शुरुआत में लोगों से 1 से 2 लाख रुपये की बुकिंग राशि ली जाती थी। इसके बाद रजिस्ट्रेशन, सर्वे, नक्शा पासिंग, डेवलपमेंट, क्लीयरेंस आदि के नाम पर किस्तों में बड़ी रकम वसूली जाती थी।
इस ठगी की पहली शिकायत मुंबई के केईएम अस्पताल में कार्यरत एक महिला ने की थी। जांच में सामने आया कि उसके परिचितों समेत कई लोग इस गिरोह के शिकार बने हैं।
बुधवार को उरण पुलिस ने 13 लोगों से 40 लाख और अन्य पीड़ितों से 2 करोड़ रुपये की ठगी की एफआईआर दर्ज की है। शिकायतकर्ताओं ने आरोप लगाया है कि किसन राठोड़ और उसके साथी मीठी-मीठी बातों से बहला फुसलाकर यह फर्जीवाड़ा करते थे।
पुलिस की कार्रवाई और अपील
पुलिस अब तक कई फर्जी दस्तावेज, बैंक ट्रांजैक्शन डिटेल्स और जाली एग्रीमेंट जब्त कर चुकी है। नवी मुंबई पुलिस ने आम जनता से अपील की है कि अगर किसी ने सिलिंक प्रॉपर्टी या इंफ्राटेक लैंड्स के माध्यम से प्लॉट खरीदा है या भुगतान किया है, तो वह तुरंत आकर पुलिस में शिकायत दर्ज कराएं।
सांगली और कोल्हापुर में भी दर्ज हैं केस
किसन राठोड़ और उसका भाई पंडित राठोड़ पर सांगली और कोल्हापुर में भी धोखाधड़ी के कम से कम 7 मामलों में केस दर्ज हैं। इन मामलों में जाली दस्तावेज और करोड़ों की ठगी का आरोप है।
बुधवार को उरण पुलिस ने किसन राठोड़ के अलावा सचिन जाधव, जय दामगुडे, धनराज बनकर और अर्जुन जाधव के खिलाफ भी मामला दर्ज किया है। पुलिस इस पूरे रैकेट को संगठित रियल एस्टेट धोखाधड़ी गिरोह मानकर जांच कर रही है।