जेल में बंद विचाराधीन व दोषी ठहराए गए कैदियों (prisoner) को कई बार दूर-दराज की जेलों में रखा जाता है। ऐसे कैदियों के परिजन (prisoner can call to relatives) उनसे लंबे समय तक नहीं मिल पाते हैं। कई गरीब कैदियों के परिजन आर्थिक कारणों से भी मिलने नहीं आ पाते हैं। ऐसे कैदियों को लंबे समय तक परिजनों के वियोग के कारण हताशा का शिकार होने से बचाने के लिए जेल प्रशासन ने कुछ उपाय किए हैं। जेल प्रशासन ने कैदियों का उनके परिजनों से संपर्क कराने के लिए जेलों में फोन (prisoner can call) लगवाए हैं।
जेल प्रशासन द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार कैदियों को जेल प्रशासन को अपने परिजनों का नंबर देना पड़ता है। उक्त नंबर की जांच-पड़ताल के बाद जेल प्रशासन महीने में तीन बार कैदियों की उनके सगे परिजनों से फोन पर बात कराता है। कैदियों को 10 मिनट तक अपने परिजनों से बात करने की सुविधा मिलती है। ये सुविधा उन्हीं कैदियों को मिलती है, जिनके परिजन जेल में उनसे मिलने नहीं आ पाते हैं या बहुत कम आते हैं।
महीने में दो बार मिल सकते हैं वकील
इसी तरह 14/06/2017 को जारी सरकारी अध्यादेश के अनुसार जेल में बंद कैदियों से उनके वकील सुबह 9:00 से 10:30 बीच मुलाकात कर सकते हैं, ऐसी सुविधा दी जाती है लेकिन जिन कैदियों के वकील प्रत्यक्ष मिलने नहीं आते उन्हें नियमों का पालन करते हुए महीने में २ बार १० मिनट अपने वकील से फोन पर बात करने की सुविधा मिले तथा स्थानीय परिस्थितियों के अनुसार वकील से मुलाकात के संदर्भ में अनुमति दी जाए। ऐसा सुझाव कारागृह अधीक्षक को दिया गया है।
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